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जावेद अख्तर की यादें: शबाना आजमी के घर की खुली संस्कृति

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खुला दरवाजा और परिवार की बेफिक्र संस्कृति

प्रसिद्ध गीतकार जावेद अख्तर ने हाल ही में एक पुरानी याद साझा की, जिसमें शबाना आजमी के घर का खुला दरवाजा और एक दिलचस्प घटना शामिल है। इस घटना ने उस समय की पारिवारिक संस्कृति और माहौल को उजागर किया। सबसे चौंकाने वाली बात यह थी कि एक प्रसिद्ध अभिनेत्री उस समय वहां पहुंची।


खुलापन और मेहमाननवाजी का माहौल

जावेद अख्तर ने मेटाफोर लिटफेस्ट में एक पुरानी घटना का जिक्र किया। उन्होंने बताया कि शबाना आजमी का घर हमेशा मेहमानों के लिए खुला रहता था और उनके पिता, कैफी आजमी, अक्सर कहते थे कि ‘मेरे घर का दरवाजा कभी बंद नहीं होगा।’ घर में हमेशा लोग आते-जाते रहते थे, और दरवाजे पर दस्तक देने की जरूरत नहीं होती थी।


रेखा का अनोखा अनुभव

एक दिन, अभिनेत्री रेखा शबाना आजमी के घर गईं, लेकिन वहां कोई नहीं था। सभी दरवाजे खुले थे। रेखा ने देखा कि एक कैसैट प्लेयर रखा है और उसे ले गईं, यह साबित करने के लिए कि खुले दरवाजे और घर के सदस्यों की अनुपस्थिति में सुरक्षा की समस्या हो सकती है। बाद में, उन्होंने शबाना को फोन किया और कहा, 'मैं आपके घर गई थी, सारे दरवाजे खुले थे, लेकिन कोई नहीं था, इसलिए मैंने आपका कैसैट प्लेयर ले लिया।'


रेखा और शबाना की फिल्मी साझेदारी

रेखा एक कालातीत अभिनेत्री हैं, जबकि शबाना आजमी अपनी अदाकारी के लिए विश्वभर में जानी जाती हैं। दोनों ने एक साथ ज्यादा फिल्में नहीं की हैं, लेकिन उनकी परफॉरमेंस हमेशा दर्शकों को प्रभावित करती है। चाहे वह 'राम तेरे कितने नाम' हो, 'एक ही भूल' हो या 'रास्ते प्यार के', दोनों की जोड़ी ने हमेशा फिल्मों को और बेहतर बनाया है।


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